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क्राइम कैपिटल: राजधानी में 6 दिन के भीतर 4 नौजवानों की हत्या, वजह आपसी विवाद; पुलिस का अभियान फेल

Newskart @ रायपुर। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर नौजवानों के खून से लाल हो गई है। रोज किसी न किसी इलाके में चाकूबाजी हो रही है या लोगों की जान जा रही है। 6 दिनों में 4 नौजवानों की जान जा चुकी है। दर्जनभर लोग चाकूबाजी में घायल हो गए हैं। जबकि पुलिस रोज शहर में अभियान चला रही है। एसएसपी प्रशांत अग्रवाल खुद सड़क में उतर चुके हैं। इसके बाद भी घटनाएं रुक नहीं रही हैं।

पुलिस की जांच के दौरान ही मंगलवार-बुधवार रात खम्हारडीह वीआईपी स्टेट कॉलोनी में एक युवक की हत्या हो गई। युवक पर पहले चाकू से ताबड़तोड़ हमला किया गया। उसके बाद पत्थर से सिर कुचल दिया गया। आरोपी वहां से भाग निकले। सुबह जब लोग वॉक पर निकले तो शव देखकर पुलिस को फोन किया। 4 घंटे में युवक की पहचान हो गई। हालांकि अब तक हत्या की कोई वजह सामने नहीं आई है। पुलिस ने युवक के कुछ करीबियों को हिरासत में लिया है। उनसे पूछताछ की जा रही है। पुलिस ने कुछ महिलाओं को भी पूछताछ के लिए बुलाया था। पुलिस को शक है कि आपसी विवाद या प्रेम संबंध को लेकर युवक की हत्या की गई है। कातिल युवक की पहचान छिपाना चाहते थे। हत्या में 2 से ज्यादा लोग शामिल हो सकते हैं।

रायपुर पुलिस के मुताबिक मृतक खम्हारडीह थाना के पीछे शिवा नगर निवासी सागर दीप (25) है, जो मंगलवार शाम 6 बजे घर से घूमने के लिए निकला था। उसके बाद वह घर नहीं लौटा। परिजनों ने फोन लगाया तो उसका मोबाइल बंद था। सुबह उसका शव वीआईपी स्टेट कॉलोनी के खाली जगह पर मिला है। शरीर पर चाकू के आधा दर्जन से ज्यादा चोट के निशान हैं। सिर को पत्थर से कुचल दिया गया है। उसका चेहरा पहचान नहीं आ रहा है। उसके हाथ में दो नाम का टैटू बना हुआ है। उसी टैटू से मृतक की पहचान हुई है। पुलिस ने उसके परिजनों का बयान दर्ज किया है। उसका कॉल डिटेल निकाला जा रहा है। पुलिस ने मृतक के साथ घूमने वाले 3 लोगों को हिरासत में लिया है, जो हत्या से इंकार कर रहे हैं। पुलिस पड़ताल कर रही है कि सागर रात में किन लोगों के साथ था? वह कहां गया था? आखिरी बार उसे किसके साथ देखा गया था? पुलिस आसपास लगे सीसीटीवी कैमरे को भी खंगाल रही है। पुलिस का दावा है कि आरोपियों को जल्द पकड़ लिया जाएगा।

6 दिनों में 4 लोगों की हत्या

पिछले 6 दिनों के भीतर 4 लोगों की हत्या हो चुकी है। जबकि 11 लोगों पर चाकू और धारदार हथियार से हमला हुआ है। मरने वालों में ज्यादातर 20-30 साल के नौजवान हैं। जबकि पकड़े गए आरोपियों में 90 फीसदी नशेड़ी हैं। वे शराब, गांजा के अलावा नशीली दवाइयों का नशा करते हैं। नशा के लिए टेबलेट और सीरप का उपयोग करते हैं। इसमें भी 85 फीसदी आरोपियों का पुलिस में कोई रिकॉर्ड नहीं है। आपसी विवाद और लड़कियों को लेकर हुए विवाद के बाद हत्या जैसी घटनाओं को अंजाम दिया।

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